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सुप्रीम कोर्ट ने कर्नाटक के 10 बागी विधायकों से कहा- स्‍पीकर से जाकर मिलें, इच्‍छा हो तो इस्‍तीफ दें

नई दिल्‍ली। कर्नाटक के 10 बागी विधायकों की अपील पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस-जेडीएस के 10 बागी विधायकों से कहा है कि वे गुरुवार शाम 6 बजे कर्नाटक विधानसभा अध्‍यक्ष से जाकर मिलें और अपना निर्णय बताएं। इस दौरान अगर वे चाहें, तो अपना इस्‍तीफा दे सकते हैं। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने इन विधायकों को सुरक्षा प्रदान करने का भी निर्देश दिया है।

सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा कि कर्नाटक विधानसभा अध्यक्ष को गुरुवार को ही फैसला लेना होगा कि वह क्‍या करना चाहते हैं। इसके लिए उनके पास शाम 6 बजे तक का समय है। कोर्ट ने कर्नाटक के डीजीपी को सभी बागी विधायकों को सुरक्षा प्रदान करने का भी आदेश दिया।

दरअसल, विधानसभा अध्यक्ष ने यह कहकर असमंजस बढ़ा दिया था कि इस्तीफा देने वाले 13 सदस्यों में से नौ का इस्तीफा प्रारूप के अनुरूप नहीं है। उन्होंने विधायकों को पेश होने को कहा है। ऐसे में मुंबई के होटल में रुके दस विधायकों ने सुप्रीम कोर्ट में अपील कर विधानसभा अध्यक्ष पर पक्षपात करने का आरोप लगाया और कहा कि जानबूझकर इस्तीफा स्वीकार नहीं किया गया है ताकि अल्पमत में आई सरकार को बचाया जा सके।

कर्नाटक सियासी नाटक कब थमेगा अभी यह कह पाना बेहद मुश्किल नजर आ रहा है। सुप्रीम कोर्ट में दायर अपील में विधायकों ने मांग की है कि स्पीकर को आदेश दिया जाए कि इस्तीफा स्वीकार करें। याचिका में यह भी कहा गया कि कांग्रेस ने इन विधायकों की सदस्यता निरस्त करने की मांग की है। हालांकि, इसकी जरूरत नहीं है, क्योंकि विधायकों ने खुद ही इस्तीफा दिया है। याचिकाकर्ता की ओर से पेश मुकुल रोहतगी ने मुख्य न्यायाधीश जस्टिस रंजन गोगोई की पीठ से कहा कि ऐसे मामलों में वक्त की बहुत अहमियत होती है।

इस बीच कर्नाटक में कांग्रेस-जदएस गठबंधन सरकार को एक और झटका लगा है। बुधवार को कांग्रेस के दो और विधायकों एमटीबी नागराज और के. सुधाकर ने भी इस्तीफा दे दिया जिससे गठबंधन के बागी विधायकों की संख्या बढ़कर 16 हो गई है। इनमें 13 कांग्रेस और तीन जदएस के हैं। एमटीबी नागराज प्रदेश के आवासीय मंत्री और के. सुधाकर राज्य के प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के चेयरमैन भी थे।

राज्य की 224 सदस्यीय विधानसभा में बहुमत का आंकड़ा 113 का है। इसमें विधानसभा अध्यक्ष के अलावा कांग्रेस के 78, जदएस के 37 और बसपा का एक विधायक है। इस तरह गठबंधन विधायकों की कुल संख्या 116 है। दो निर्दलीय विधायकों के समर्थन से भाजपा की संख्या 107 तक पहुंच गई है। अगर बागी 16 विधायकों के इस्तीफे मंजूर हो गए तो गठबंधन विधायकों की संख्या घटकर 100 रह जाएगी।

Hind Brigade

Editor- Majid Siddique


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