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तीसरे मोर्चे की पहल को पवार ने दिया तगड़ा झटका

मुंबई:
अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले भाजपा और कांग्रेस से इतर तीसरा मोर्चा बनाने की कोशिशों को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) ने तगड़ा झटका दिया है। एनसीपी के अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद पवार ने कहा है कि तीसरा मोर्चा 'व्यावहारिक' नहीं है, 

इसलिए यह चल नहीं पाएगा। पवार का यह बयान ऐसे समय में आया है, जब पूर्व प्रधानमंत्री और जेडीएस नेता एचडी देवगौड़ा ने जल्द से जल्द तीसरे मोर्चे के गठन की मांग की है।

हमारे सहयोगी चैनल टाइम्स नाउ के साथ खास बातचीत में शरद पवार ने कहा कि तीसरा मोर्चे के रूप में विभिन्न दलों का महागठबंधन अव्यावहारिक है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि उनके कई साथी चाहते हैं कि महागठबंधन बनाया जाए। पवार ने प्रधानमंत्री पद के लिए किसी नाम के ऐलान से परहेज किया, लेकिन संकेत दिया कि वर्ष 1977 में जैसे मोरारजी देसाई विजयी दलों का चेहरा बने थे, उसी तरह से इस बार भी ऐसा हो सकता है।

पवार ने कहा, 'सबसे पहले मुझे खुद भी महागठबंधन या विकल्प के लिए बहुत भरोसा नहीं है। मैं निजी तौर पर महसूस करता हूं कि स्थिति वर्ष 1977 के जैसी है। आप देखिए, इंदिरा गांधी एक मजबूत इरादों वाली महिला थीं। आपातकाल के बाद वह प्रधानमंत्री थीं। उस समय कोई राजनीतिक दल नहीं था, लेकिन कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक जनता ने उनके खिलाफ वोट किया और कांग्रेस की हार हुई।'


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